नेपाल में 3165 मीटर ऊंचाई पर बाघ को देखा गया

हाल ही में नेपाल में वन अधिकारियों ने समुद्र तल से 3,165 मीटर की ऊंचाई पर एक रॉयल बंगाल टाइगर को देखा है। यह एक दुर्लभ और असामान्य घटना है।

मुख्य बिंदु

यह पहली बार है जब बाघ को इतनी अधिक ऊंचाई पर देखा गया है। इस असामान्य दृश्य ने जलवायु परिवर्तन और वन्यजीवों के निवास स्थान पर ग्लोबल वार्मिंग के प्रभाव को हाईलाइट किया है। नेपाल के वन विभाग ने कहा है कि इतनी अधिक ऊंचाई पर बाघ के देखे जाने से संकेत मिलता है कि पूर्वी नेपाल के कंचनजंगा लैंडस्केप पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है।

यह जंगल भारत के उत्तर बंगाल में दूआर, सिंगालिया नेशनल पार्क, उत्तरी सिक्किम को कनेक्टिविटी प्रदान करता है।

ग्लोबल वार्मिंग का प्रभाव

बांग्लादेश और ऑस्ट्रेलियाई के शोधकर्ताओं द्वारा किए गए एक अध्ययन से संकेत मिलता है कि लगातार बढ़ती ग्लोबल वार्मिंग के कारण सुंदरबन के मैंग्रोव में बाघों को खतरा उत्पन्न हो सकता है। समुद्र का जल स्तर बढ़ने के कारण कम से कम 50 साल बाद लगभग 2070 के आसपास ऐसा हो सकता है।

अध्ययन से पता चलता है कि, सुंदरबन मैंग्रोव पारिस्थितिकी तंत्र, जो भारत और बांग्लादेश में स्थित है, समुद्र के बढ़ते स्तर के कारण वर्ष 2100 तक वन क्षेत्र को काफी नुकसान होगा। इंटरगवर्नमेंटल पैनल ऑन क्लाइमेट चेंज (आईपीसीसी) ने भविष्यवाणी की है कि ग्रीनहाउस गैस सांद्रता बढ़ने के कारण समुद्र का स्तर बढ़ रहा है।

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