झारखंड ने SCs, STs और अन्य के लिए आरक्षण बढ़ाया
झारखंड सरकार ने हाल ही में राज्य सरकार की नौकरियों में अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, पिछड़े वर्ग, ओबीसी और अन्य आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लोगों के लिए 77% आरक्षण देने के प्रस्ताव को मंजूरी दी है।
मुख्य बिंदु
- झारखंड राज्य सरकार ने डाक और सेवा अधिनियम, 2001 में रिक्तियों के झारखंड आरक्षण में संशोधन के लिए एक विधेयक को मंजूरी दे दी है।
- यह संशोधन विधेयक एससी, एसटी, बीसी, ओबीसी और आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों को 77 प्रतिशत आरक्षण प्रदान करता है।
- इसने ओबीसी आरक्षण को वर्तमान 14 प्रतिशत से बढ़ाकर 27 प्रतिशत कर दिया है।
- यह स्थानीय अनुसूचित जाति समुदायों के लोगों के लिए 12 प्रतिशत और स्थानीय अनुसूचित जनजाति समुदायों के लिए 28 प्रतिशत का कोटा प्रदान करता है।
- अति पिछड़ा वर्ग के लोगों को 15 प्रतिशत आरक्षण दिया गया है और ओबीसी को 12 प्रतिशत आरक्षण दिया जाता है।
- आर्थिक रूप से पिछड़े व्यक्तियों को जो अन्य आरक्षित श्रेणियों में शामिल नहीं हैं, उन्हें 10 प्रतिशत आरक्षण दिया जाता है।
- सरकारी नौकरियों में आरक्षण पूरे भारत में अन्य राज्यों में लोगों के प्रवास को कम करेगा।
- विशेष रूप से अन्य पिछड़े वर्गों (ओबीसी) के लिए आरक्षण की सीमा बढ़ाना झारखंड में लंबे समय से लंबित मांग रही है।
- राज्य सरकार ने “Jharkhand definition of local persons and for extending the consequential, social, cultural and other benefits to such local persons Bill, 2022” को भी मंजूरी दी।
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