पीएम मोदी ने लॉन्च किया E-100 प्रोजेक्ट

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पुणे में विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर E-100 पायलट प्रोजेक्ट लांच किया।

ई-100 परियोजना (E-100 Project)

इस महत्वाकांक्षी परियोजना को भारत में इथेनॉल के उत्पादन और वितरण के लिए एक नेटवर्क स्थापित करने के उद्देश्य से शुरू किया गया है।

मुख्य बिंदु

प्रधानमंत्री ने ‘Report of the Expert Committee on Road Map for ethanol blending in India 2020-2025’ भी लॉन्च की। इसे विश्व पर्यावरण दिवस की थीम “बेहतर पर्यावरण के लिए जैव ईंधन को बढ़ावा देना” के अनुरूप जारी किया गया।

भारत में इथेनॉल क्षेत्र (Ethanol Sector in India)

प्रधानमंत्री के अनुसार, भारत ने इथेनॉल क्षेत्र के विकास के लिए कई कदम उठाए हैं। इथेनॉल 21वीं सदी के भारत की एक प्रमुख प्राथमिकता बन गया है क्योंकि इथेनॉल का पर्यावरण और किसानों के जीवन पर बेहतर प्रभाव पड़ता है। इसी क्रम में सरकार ने 2025 तक पेट्रोल में 20 प्रतिशत एथेनॉल मिश्रण के लक्ष्य को प्राप्त करने का संकल्प लिया है। 2014 तक, भारत में लगभग 1.5 प्रतिशत इथेनॉल मिश्रित किया जाता था। अब यह 8.5 फीसदी पर पहुंच गया है।

इथेनॉल सम्मिश्रण (Ethanol Blending)

पेट्रोल में इथेनॉल सम्मिश्रण भारत सहित कई देशों द्वारा वाहनों के उत्सर्जन को कम करने और कच्चे पेट्रोलियम पर आयात के बोझ को कम करने के लिए किया रहा है। वर्तमान में, पेट्रोल में बायोएथेनॉल सम्मिश्रण 5% है, जो लगभग 1.8 मिलियन बैरल कच्चे तेल की जगह ले सकता है।

इथेनॉल सम्मिश्रण का महत्व (Significance of Ethanol Blending)

इथेनॉल अणु में ऑक्सीजन होता है जो इंजन को पूरी तरह से ईंधन का दहन करने की अनुमति देता है।इससे उत्सर्जन कम होता है और पर्यावरण प्रदूषण कम होता है। इथेनॉल, चीनी उद्योग का उप-उत्पाद (by-product ) होने के कारण, एक अक्षय स्रोत है जो कार्बन डाइऑक्साइड, कार्बन मोनोऑक्साइड और हाइड्रोकार्बन के उत्सर्जन में शुद्ध कमी लाता है।

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