बाल श्रम पर तेलंगाना के नए नियम : मुख्य बिंदु
तेलंगाना सरकार ने केंद्र द्वारा तैयार किए गए नियमों के अनुरूप बाल श्रम (child labour) को रोकने के लिए एक संशोधित दिशानिर्देश जारी किया है।
मुख्य बिंदु
- राज्य सरकार 14 साल से कम उम्र के बच्चों को काम पर रखने या जबरदस्ती करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगी।
- संशोधित मानदंडों के अनुसार, यदि कोई 14 वर्ष से कम आयु के बच्चों को रोजगार देने का प्रयास करता है, तो उसे छह महीने से एक वर्ष तक की जेल की सजा हो सकती है।
- उस व्यक्ति पर 20 हजार से 50 हजार रुपए तक का जुर्माना भी लगाया जाएगा।
टास्क फोर्स कमेटी
श्रम विभाग बाल श्रम की समस्या पर प्रभावी ढंग से निगरानी रखने और उस पर अंकुश लगाने के लिए संबंधित जिला कलेक्टर की अध्यक्षता में एक टास्क फोर्स समिति का भी गठन करेगा।
क्या बच्चे फिल्मों या धारावाहिकों में काम कर सकते हैं?
- संशोधित दिशानिर्देशों के अनुसार, फिल्म निर्देशक को फिल्मों या धारावाहिकों में बच्चों को शामिल करने के लिए संबंधित कलेक्टर से अनुमति लेनी होगी।
- बच्चों को केवल पांच घंटे काम करने की अनुमति होगी, जिसमें तीन घंटे के बाद एक ब्रेक होगा।
- इसके अलावा, बच्चे को केवल 27 दिनों तक शूटिंग में भाग लेने की अनुमति होगी।
- यदि शूटिंग में पांच से अधिक बच्चे भाग ले रहे हैं, तो पर्यवेक्षण के लिए एक व्यक्ति को नियुक्त करना होगा।
- बच्चे के पारिश्रमिक का 25% बैंक में जमा करना होगा। यह राशि बच्चे के बालिग होने के बाद उसे दी जाएगी।
माता-पिता के लिए प्रावधान
- अगर माता-पिता बच्चों को काम करने के लिए मजबूर करते हैं, तो उन्हें भी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। माता-पिता अपने बच्चों से सहायता ले सकते हैं, लेकिन इससे उनकी शिक्षा प्रभावित नहीं होनी चाहिए।
- गाइडलाइंस में आगे कहा गया है कि खतरनाक कामों, रिटेल चेन और मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में बच्चों का इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए।
स्कूल प्राचार्य के लिए दिशानिर्देश
यदि कोई बच्चा बिना अनुमति के 30 दिनों तक स्कूल नहीं जाता है, तो स्कूल के प्रिंसिपल को इस बात को संबंधित नोडल अधिकारी के ध्यान में लाना होगा।
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