भारत और श्रीलंका के बीच समुद्री अभ्यास SLINEX-2023 शुरू हुआ

SLINEX-2023 वार्षिक भारत-श्रीलंका द्विपक्षीय समुद्री अभ्यास का 10वां संस्करण है। इस अभ्यास का उद्देश्य दोनों नौसेनाओं के बीच आपसी समझ में सुधार करना, अंतरसंक्रियता को बढ़ाना और बहुआयामी समुद्री संचालन में सर्वोत्तम प्रथाओं/प्रक्रियाओं का आदान-प्रदान करना है।

इस अभ्यास में दो चरण हैं, बंदरगाह चरण और समुद्री चरण। श्रीलंका के कोलंबो में 3-5 अप्रैल तक हार्बर चरण का आयोजन किया गया, इसके बाद 6-8 अप्रैल को कोलंबो के समुद्र चरण का आयोजन किया जा रहा है।

द्विपक्षीय सहयोग और SLINEX-2023 का महत्व

भारत और श्रीलंका के बीच लंबे समय से द्विपक्षीय संबंध हैं, विशेष रूप से समुद्री क्षेत्र में। राजनीतिक जुड़ाव, आर्थिक और वाणिज्यिक संबंध, लोगों से लोगों के संपर्क और सांस्कृतिक आदान-प्रदान जैसे विभिन्न क्षेत्रों में दोनों देशों के बीच सहयोग मजबूत रहा है।

द्विपक्षीय नौसैनिक अभ्यास, SLINEX-2023, दोनों देशों के बीच मजबूत संबंधों का एक प्रमाण है। इसका उद्देश्य दोनों नौसेनाओं के बीच सहयोग को और बढ़ाना है और साझा मूल्यों और दोस्ती और भाईचारे के बंधन को मजबूत करना है।

SLINEX-2023 की भागीदारी और मुख्य विशेषताएं

श्रीलंका में भारत के उप उच्चायुक्त विनोद जैकब ने 3 अप्रैल को अभ्यास के उद्घाटन में भाग लिया। उन्होंने अभ्यास के महत्व और इसके पहले पर प्रकाश डाला।

भारतीय नौसेना का प्रतिनिधित्व आईएनएस किल्टन, एक उन्नत एंटी-सबमरीन वारफेयर कार्वेट, और आईएनएस सावित्री, एक अपतटीय गश्ती पोत द्वारा किया जाता है। श्रीलंका नौसेना का प्रतिनिधित्व एसएलएनएस गजबाहु, एक अग्रिम अपतटीय गश्ती पोत और एसएलएनएस सागर, एक ओपीवी द्वारा किया जा रहा है।

इन जहाजों के अलावा, अभ्यास में डोर्नियर मैरीटाइम पेट्रोल एयरक्राफ्ट और भारतीय नौसेना चेतक हेलीकॉप्टर, श्रीलंका वायु सेना डोर्नियर और बीईएल 412 हेलीकॉप्टर भी शामिल होंगे। इस अभ्यास में दोनों नौसेनाओं के विशेष बल भी भाग लेंगे।

SLINEX का पिछला संस्करण विशाखापत्तनम में पिछले साल 7-12 मार्च तक आयोजित किया गया था। इस साल के अभ्यास से दोनों नौसेनाओं के बीच द्विपक्षीय संबंधों और सहयोग के और मजबूत होने की उम्मीद है।

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