भारत के लोक-नृत्य
भारतीय राज्यों के लोक नृत्य जन संस्कृति का अभिन्न हिस्सा हैं। भारतीय लोक नृत्य ग्रामीण इलाकों और दूरदराज के क्षेत्रों में समूहों में स्थानीय अनुष्ठानों और रीति-रिवाजों के अनिवार्य भाग के रूप में किए जाते हैं। धार्मिक, सामाजिक, सांस्कृतिक और मौसमी त्योहारों के दौरान इस तरह के नृत्यों का अभ्यास किया जाता है।
भारत के प्रमुख लोक-नृत्य इस प्रकार हैं-
कश्मीर के लोक-नृत्य
कश्मीर भारतीय उपमहाद्वीप का उत्तर-पश्चिमी क्षेत्र है, जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता और शांत जीवन शैली के लिए प्रसिद्ध है। यहाँ के प्रमुख लोक-नृत्य भांड जशन, डमहल, कुद, बच्चा नगमा, रूफ, हाफिजा, वुगी नचुन हैं।
पंजाब के लोक-नृत्य
पंजाब अपने रंग के लिए जाना जाता है। भांगड़ा, झुमर, लुड्डी, जूली, डंकरा और धूमल, सम्मी, गिद्दा, जागो और किक्ली पंजाब के कुछ प्रमुख लोक नृत्य हैं।
हिमाचल प्रदेश के लोक-नृत्य
नामजेन, कारालिया, लोसार शोना चुक्सम यहाँ के प्रमुख लोक-नृत्य हैं।
उत्तर प्रदेश के लोक-नृत्य
उत्तर प्रदेश का लोक नृत्य राज्य की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को दर्शाता है। उत्तर प्रदेश के प्रमुख लोक नृत्य में रासलीला, रामलीला, ख्याल, नौटंकी, नकाल, स्वांग, दादरा और चरकुला नृत्य शामिल हैं।
उत्तराखंड के लोक-नृत्य
हुरका बाल यहाँ का प्रसिद्ध नृत्य है।
राजस्थान के लोक-नृत्य
राजस्थान हजारों सालों से राजपूतों की वीरता का प्रतीक रहा है। राजस्थान के प्रमुख लोक-नृत्य गौरी नृत्य, घूमर नृत्य, तेरहताली नृत्य, अग्नि नृत्य, चारी नृत्य, कठपुतली नृत्य, कालबेलिया नृत्य, गेर नृत्य और भवाई नृत्य है।
हरियाणा के लोक-नृत्य
हरियाणा के लोक नृत्यों से लोगों में एकता और एकजुटता की भावना पैदा होती है। इन नृत्यों में फाग नृत्य, सांग नृत्य, छठी नृत्य, खोरिया नृत्य, धमाल नृत्य, डफ नृत्य, घूमर नृत्य, झूमर नृत्य, गुग्गा नृत्य, लूर नृत्य, रास लीला नृत्य शामिल हैं।
बिहार के लोक-नृत्य
बिहार के प्रमुख लोक-नृत्य बिदेसिया, जुमरी, झिझिया नृत्य, कजरी नृत्य, पाईका नृत्य हैं।
मणिपुर के लोक-नृत्य
पुंग चोलों, माई, खंबा थाबी, नूपा नृत्य, रासलीला मणिपुर के कुछ महत्वपूर्ण लोक-नृत्य हैं।
नागालैंड के लोक-नृत्य
नागालैंड भी लोक-नृत्यों से परिपूर्ण एक स्थान है।
त्रिपुरा के लोक-नृत्य
त्रिपुरा के प्रमुख लोक-नृत्य बिजू, लेबांग बूमानी, गरिया नृत्य, होजागिरी, झूम नृत्य, है हाक डांस, संगराई नृत्य, वेलकम डांस, डेलो नृत्य, गैलामुचामो नृत्य हैं।
अरुणाचल प्रदेश के लोक-नृत्य
पोंग, दामिंडा, वांचो, तापु, बारडो छम, खांपटी नृत्य, बुईया, रिखमपाड़ा, लायन एंड पीक अरुणाचल प्रदेश के कुछ महत्वपूर्ण लोक-नृत्य हैं।
मिजोरम के लोक-नृत्य
मिजोरम उत्तर-पूर्व का एक प्रमुख प्रदेश है। चेरव नृत्य, खुआलम नृत्य, छेहलाम नृत्य, सांवलिया नृत्य, चैलम नृत्य, तेलंगम नृत्य, पार लैम नृत्य, सरलामकाई नृत्य मिजोरम के लोक-नृत्य हैं।
असम के लोक-नृत्य
असम के प्रमुख लोक-नृत्य झुमरे नाच, बगरुमबा नृत्य, देवधनी नृत्य, भोरताल नृत्य, खंबा लिम, अनकिया नट हैं।
ओडिशा के लोक-नृत्य
भगवान जगन्नाथ की भूमि ओडिशा एक पवित्र भूमि है। यहाँ के प्रमुख लोक-नृत्य घमुरा नृत्य, पाला नृत्य, दलखाई लोक-नृत्य, छाऊ नाच, कर्म नाच, बाघा नाच, कीसाबादी, ढप नृत्य, गोटी पुआ हैं।
पश्चिम बंगाल के लोक-नृत्य
पश्चिम बंगाल के लोक नृत्य वृता, छऊ, गंभीरा, टुसु, संथाल और लाठी नृत्य हैं।
मध्य प्रदेश के लोक-नृत्य
मध्य प्रदेश के विभिन्न लोक नृत्य मटकी नृत्य, कर्म नृत्य, तृतीली नृत्य, मुरिया नृत्य, बारदी नृत्य, अहिरी नृत्य, लहंगी नृत्य, जावरा नृत्य, ग्रीडा नृत्य, सैला नृत्य हैं।
छत्तीसगढ़ के लोक-नृत्य
सैला, कर्म, सुआ नाच, पंथी, गेंडी छत्तीसगढ़ के कुछ लोक-नृत्य हैं।
गुजरात के लोक-नृत्य
गुजरात पश्चिमी भारत का एक सांस्कृतिक विशेषताओं से युक्त राज्य है। गरबा, डांडिया, भवाई, पधार और हुडो गुजरात के प्रमुख लोक-नृत्य हैं।
महाराष्ट्र के लोक-नृत्य
महाराष्ट्र छत्रपति शिवाजी महाराज की वीरता की धरती है। यहाँ के प्रमुख लोक-नृत्य काला, डिंडी, कोली, लावणी, धनगड़ी गाजा और पोवाड़ा हैं।
गोवा के लोक-नृत्य
गोवा अपने समुद्र तट के साथ संस्कृति के लिए भी प्रसिद्ध है। यहाँ के लोक-नृत्य दिवाली नाच, घोडे मोदनी, गोफ, मांडो, धनगर, टोनीमेल, मोरुलेम, कोरेडिंहो, फुगड़ी, कुनबी, तलगड़ी, भोंवादों, जागोर और मुसोल नाच हैं।
तमिलनाडु के लोक-नृत्य
कुरवनजी, करगट्टम, कुम्मी, कोल्लट्टम, कावड़ी अट्टम, नोंदी नाटकम, पावई कुथु, काई सिलंबट्टम, मयिल अट्टम, अय्यट्टम, देवरत्तम, डमी हॉर्स, पीकॉक डांस तमिलनाडु के लोक-नृत्य हैं।
केरल के लोक-नृत्य
केरल के प्रमुख लोक-नृत्य दप्पू, सर्पम ठुल्ल, कवादीयोट्टम, भद्राकाली थुलल, वेला काली, कोलम थुलल, थमपी, थुलल, कड़ुवा काली, कन्नियार काली, कुमति नृत्य हैं।
कर्नाटक के लोक-नृत्य
यक्षगान नृत्य, डोलु कुनिथा, नागमंडल, कृष्ण पारिजात, भूत आराधना, वीरागासे नृत्य कर्नाटक के कुछ प्रमुख लोक-नृत्य हैं।
आंध्र प्रदेश के लोक-नृत्य
गोबी नृत्य, बाथाकम्मा नृत्य, धमाल नृत्य, मथुरी नृत्य, डंडारिया नृत्य, वीरानाट्यम, बुट्टा बोम्मलू आंध्र प्रदेश के लोक-नृत्य हैं।