भारत विदेशी सहयोग से विमानों के लिए जेट इंजन विकसित करेगा
29 नवंबर, 2021 को भारत सरकार ने संसद में बताया कि भारत इंटरनेशनल इंजन हाउस के सहयोग से लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट (LCA) जैसे विमानों के लिए जेट इंजन विकसित करेगा।
मुख्य बिंदु
- वर्तमान में, स्वदेशी हल्के लड़ाकू विमान (LCA) तेजस को एक आयातित इंजन के साथ एकीकृत किया गया है।
- इसके लिए जल्द ही स्वदेशी इंजन विकसित किए जाएंगे।
- ऐसे स्वदेशी इंजनों का उपयोग उन्नत मध्यम लड़ाकू विमान (Advanced Medium Combat Aircraft – AMCA) को शक्ति प्रदान करने के लिए भी किया जाएगा।
नया स्वदेशी इंजन
LCA तेजस के फ्लाइट ऑपरेशनल क्लीयरेंस (FOC) कॉन्फिगरेशन में अधिक शक्ति की आवश्यकता होती है। इसलिए वर्तमान आर्किटेक्चर में कावेरी इंजन को एकीकृत नहीं किया जा सकता है। एलसीए तेजस के लिए एक संशोधित इंजन संस्करण की आवश्यकता होगी। इस प्रकार प्रस्तावित इंजन के विकास के लिए कावेरी इंजन परियोजना के माध्यम से निर्मित तकनीकी क्षमताओं का उपयोग किया जाएगा।
कौन से इंजन LCA वैरिएंट को शक्ति देते हैं?
LCA FOC वैरिएंट और Mk1A वैरिएंट GE-F404 इंजन द्वारा संचालित हैं। दूसरी ओर, LCA-Mk2 और AMCA को शुरुआती चरणों में अधिक शक्तिशाली GE-F414 इंजन द्वारा संचालित किया जाएगा।
परियोजना कावेरी (Project Kaveri)
कावेरी परियोजना को 1989 में सुरक्षा पर कैबिनेट समिति द्वारा मंजूरी दी गई थी। यह परियोजना 2035.56 करोड़ रुपये के खर्च के साथ 30 साल तक चली। इसने 9 पूर्ण प्रोटोटाइप इंजनों के साथ-साथ चार कोर इंजनों का विकास देखा। इस परियोजना के तहत 3217 घंटे इंजन परीक्षण किया गया। इसने ऊंचाई परीक्षण और फ्लाइंग टेस्ट बेड परीक्षण भी पूरा किया।
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