पीएम मोदी ने लांच किया नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड
28 दिसंबर, 2020 को पीएम मोदी ने नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड लॉन्च किया। नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड रुपे डेबिट कार्ड वाले यात्रियों को मेट्रो यात्रा के लिए स्वाइप करने की अनुमति देगा।
नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड की मुख्य विशेषताएं
- नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड का उपयोग सभी पारगमन स्थानों (transit location) पर किया जा सकता है।यह कार्ड सभी नए मेट्रो और ट्रांजिट भुगतान को एक ही कार्ड के साथ इंटरऑपरेबल बनाता है।
- नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड यात्रियों को रुपे डेबिट कार्ड के साथ 23 बैंकों से हासिल किया जा सकता है।इसमें यूको, एसबीआई, केनरा बैंक, पंजाब नेशनल बैंक इत्यादि शामिल हैं।
- नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड की सुविधा 2022 तक सभी मेट्रो में उपलब्ध होगी।
- यह एक प्रकार की स्वचालित किराया संग्रह प्रणाली (automatic fare collection system) है। यह सिस्टम स्मार्टफोन को एक इंटरऑपरेबल कार्ड में बदल देगा, यात्री इस कार्ड का उपयोग बस, मेट्रो और रेलवे सेवाओं के भुगतान के लिए कर सकते हैं।
- दिल्ली मेट्रो परियोजना के चरण IV में राष्ट्रीय सामान्य गतिशीलता कार्ड प्रणाली को अपनाया जाना है।
- इस कार्ड के काम करने के लिए मेट्रो स्टेशनों और ट्रांजिट सिस्टम में स्वचालित किराया संग्रह प्रणाली स्थापित करनी पड़ेगी।
- नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड को ‘वन नेशन वन कार्ड’ पहल के तहत लॉन्च किया गया था।
- नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड का विचार भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा स्थापित नंदन नीलेकणी समिति द्वारा प्रस्तावित किया गया था।
नंदन नीलेकणी समिति
इस समिति ने देश में नकद लेनदेन की संख्या को कम करने और डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देना का प्रस्ताव दिया था। इस समिति ने सुझाव दिया था कि नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड में दो उपकरण होने चाहिए, एक आम डेबिट कार्ड जो एटीएम में इस्तेमाल किया जा सकता है और एक लोकल वॉलेट जिसके उपयोग कांटेक्टलेस भुगतान के लिए किया जा सकता है।
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