HDFC Bank 2031-32 तक कार्बन न्यूट्रल बन जाएगा
HDFC Bank ने 2031-32 तक कार्बन न्यूट्रल बनने की योजना बनाई है। बैंक अब अपने उत्सर्जन, ऊर्जा और पानी की खपत को कम करने का प्रयास करेगा।
HDFC कैसे कार्बन न्यूट्रल बनेगा?
HDFC अपने परिचालन में नवीकरणीय ऊर्जा के उपयोग को शामिल करना और बढ़ाना जारी रखेगा। अपनी पर्यावरण, सामाजिक और कॉरपोरेट गवर्नेंस (ESG) रणनीति के तहत, बैंक कम ब्याज दरों पर इलेक्ट्रिक वाहनों जैसे हरित उत्पादों के लिए ऋण भी प्रदान करेगा। यह अपने क्रेडिट निर्णयों में ESG स्कोर को शामिल करेगा। इसके अलावा बैंक ग्रीन बांड (green bonds) जारी करने की रूपरेखा पर भी काम कर रहा है।
योजनाएं क्या हैं?
HDFC ने निम्नलिखित योजनायें बनाई हैं :
- 3,15,583 मीट्रिक टन CO2 उत्सर्जन के मौजूदा स्तर से उत्सर्जन और खपत ऊर्जा में कमी
- बड़े कार्यालयों में रूफटॉप सोलर क्षमता को बढ़ाना
- कुल स्रोत बिजली का 50% नवीकरणीय ऊर्जा में परिवर्तित करना
- सिंगल यूज़ प्लास्टिक मुक्त कॉर्पोरेट कार्यालय का निर्माण
- ढाई लाख पेड़ लगाएं जायेंगे
- पानी की खपत 30% कम की जाएगी
महत्व
इन प्रयासों के साथ, HDFC इस दिशा में भारत की प्रतिबद्धता का समर्थन कर रहा है और एक बार व्यापक रणनीति बनने के बाद, यह नए उपायों को पेश करेगा।
HDFC बैंक
HDFC बैंक लिमिटेड संपत्ति के मुताबिक निजी क्षेत्र का सबसे बड़ा बैंक है, इसका मुख्यालय मुंबई, महाराष्ट्र में है। यह भारतीय स्टॉक एक्सचेंज पर बाजार पूंजीकरण के हिसाब से तीसरी सबसे बड़ी कंपनी है और 1,20,000 कर्मचारियों के साथ भारत में 13वां सबसे बड़ा नियोक्ता (employer) है।
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