MPLAD योजना बहाल की गयी

केंद्रीय मंत्रिमंडल ने आर्थिक सुधार का हवाला देते हुए 10 नवंबर, 2021 को संसद सदस्य स्थानीय क्षेत्र विकास योजना (Members of Parliament Local Area Development Scheme – MPLAD) योजना को बहाल किया।

मुख्य बिंदु 

  • इस योजना को अप्रैल, 2020 में निलंबित कर दिया गया था और इसके फंड को भारत के समेकित कोष (Consolidated fund of India) में समाहित कर दिया गया था।
  • इसे दो वित्तीय वर्षों यानी 2020-21 और 2021-22 के लिए निलंबित कर दिया गया था।
  • हालाँकि, जैसा कि कोविड-19 महामारी की स्थिति में सुधार हुआ है और अर्थव्यवस्था में सुधार हो रहा है, सरकार ने आंशिक रोलबैक की घोषणा की।
  • अगली घोषणा तक सांसदों को स्वीकृत 5 करोड़ रुपये के बजाय सालाना 2 करोड़ रुपये मिलेंगे।

MPLAD योजना क्या है?

MPLAD योजना 1993 में शुरू की गई थी। यह सांसदों को अपने निर्वाचन क्षेत्रों में विकास कार्यों की सिफारिश करने में सक्षम बनाती है। यह योजना स्थानीय रूप से महसूस की गई आवश्यकता के आधार पर सतत सामुदायिक संपत्ति के निर्माण पर जोर देती है। 

कौन सा मंत्रालय इस योजना को लागू करता है?

प्रारंभिक चरणों में, योजना ग्रामीण विकास और योजना मंत्रालय के नियंत्रण में थी। हालांकि, इसे अक्टूबर, 1994 में सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय को स्थानांतरित कर दिया गया था।

योजना के प्रावधान

  • MPLADS योजना के तहत, सांसद सालाना 5 करोड़ रुपये खर्च करने के हकदार हैं।
  • MPLAD फंड का उपयोग स्वच्छ भारत अभियान, सांसद आदर्श ग्राम योजना, सुगम्य भारत अभियान और वर्षा जल संचयन जैसी योजनाओं को लागू करने के लिए  किया जा सकता है।

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