2021-22 के लिए घरेलू व्यवस्थित रूप से महत्वपूर्ण बीमाकर्ता (Domestic Systemically Important Insurers) : मुख्य बिंदु
30 दिसंबर, 2021 को बीमा नियामक IRDAI ने राज्य के स्वामित्व वाली LIC, GIC और न्यू इंडिया एश्योरेंस कंपनी लिमिटेड को 2021-22 के लिए घरेलू व्यवस्थित रूप से महत्वपूर्ण बीमाकर्ता (Domestic Systemically Important Insurers – D-SII) के रूप में जारी रखा है।
D-SIIs क्या है?
- D-SII ऐसे आकार और बाजार महत्व के बीमाकर्ता हैं, और घरेलू तथा विश्व स्तर पर परस्पर जुड़े हुए हैं, जिनकी विफलता या संकट के परिणामस्वरूप घरेलू वित्तीय प्रणाली में महत्वपूर्ण अव्यवस्था होगी।
- D-SII को बीमाकर्ता के रूप में माना जाता है जो ‘बहुत बड़े या विफल होने के लिए बहुत महत्वपूर्ण’ (too big or too important to fail) हैं।
- इस प्रकार, राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था के लिए बीमा सेवाओं की निर्बाध उपलब्धता के लिए D-SII का निरंतर कार्य करना आवश्यक है।
- IRDAI वार्षिक आधार पर D-SII की पहचान करता है और सार्वजनिक जानकारी के लिए ऐसे बीमाकर्ताओं के नामों का खुलासा करता है।
D-SII के लिए आवश्यकताएं
- सार्वजनिक क्षेत्र के बीमाकर्ताओं को कॉर्पोरेट प्रशासन के स्तर को ऊपर उठाने की आवश्यकता है।
- उन्हें सभी प्रासंगिक जोखिमों की पहचान करने के साथ-साथ एक सुदृढ़ जोखिम प्रबंधन संस्कृति को बढ़ावा देना अनिवार्य है।
- वे IRDAI के बढ़े हुए नियामक पर्यवेक्षण के अधीन हैं।
भारतीय बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण (IRDAI)
IRDAI एक नियामक संस्था है, जो वित्त मंत्रालय के अधिकार क्षेत्र में काम करती है। इसे पूरे भारत में बीमा और पुनर्बीमा उद्योगों को विनियमित और लाइसेंस देने का काम सौंपा गया है। इस निकाय का गठन बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण अधिनियम, 1999 के अनुसार किया गया था। इसका मुख्यालय 2001 में दिल्ली से हैदराबाद, तेलंगाना में स्थानांतरित किया गया था।
IRDAI के सदस्य
IRDAI में अध्यक्ष सहित 10 सदस्य हैं, केंद्र सरकार द्वारा नियुक्त 5 पूर्णकालिक और 4 अंशकालिक सदस्य हैं।
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