सोलोमन द्वीप के साथ सुरक्षा समझौता करने जा रहा है चीन
लीक हुए कागजातों से सोलोमन द्वीप समूह के साथ चीन के सुरक्षा समझौते का मसौदा तैयार होने का खुलासा हुआ है। इस कदम ने अपने अन्य पश्चिमी सहयोगियों के साथ पड़ोसी देश ऑस्ट्रेलिया में चौकन्ना कर दिया है।
मुख्य बिंदु
- इस सौदे के बारे में लीक हुए कागजात में इस बात पर प्रकाश डाला गया है कि चीन द्वारा ऑस्ट्रेलिया के उत्तर में स्थित द्वीप पर एक सैन्य अड्डा स्थापित किया जा सकता है।
- ऑस्ट्रेलिया इस छोटे से द्वीप का सबसे बड़ा सहायता दाता और मुख्य रक्षा साझेदार है और उसने इस बारे में चिंता जताई है।
- न्यूजीलैंड ने भी पर चिंता जताई है।
- सोलोमन द्वीप समूह ने अभी तक उन विवरणों की पुष्टि नहीं की है जो लीक हुए मसौदे समझौते में हाइलाइट किए गए थे।
- सोलोमन द्वीप समूह ने हालांकि एक बयान जारी कर कहा है कि वह चीन सहित अन्य देशों के साथ सुरक्षा व्यवस्था का विस्तार कर रहा है।
चीनी सेना की तैनाती
लीक हुए कागजात ने एक फ्रेमवर्क का खुलासा किया है जो चीन को सोलोमन द्वीप पर चीन द्वारा विकसित की जाने वाली परियोजनाओं की सुरक्षा के लिए द्वीप पर बलों को तैनात करने की अनुमति दे सकता है। सोलोमन द्वीप चीन से सशस्त्र पुलिस, पुलिस, सैन्य कर्मियों, सशस्त्र बल और अन्य कानून प्रवर्तन बलों के लिए भी अनुरोध कर सकता है। चीनी जहाजों के रुकने और लॉजिस्टिक पुनःपूर्ति करने का भी प्रावधान है।
सोलोमन द्वीप समूह (Solomon Islands)
सोलोमन द्वीप ओशिनिया क्षेत्र का एक देश है और इसमें छह छोटे द्वीप हैं। होनियारा (Honiara) इस देश की राजधानी है और गुआडलकैनाल (Guadalcanal) नाम के सबसे बड़े द्वीप पर स्थित है। मनश्शे सोगावरे (Manasseh Sogavare) इस देश के प्रधानमंत्री हैं, और सर डेविड वुनागी गवर्नर-जनरल हैं।
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