iDEX ने 300वें अनुबंध के मील के पत्थर को हासिल किया
रक्षा उत्पादन विभाग की प्रमुख पहल, इनोवेशन फॉर डिफेंस एक्सीलेंस (iDEX) ने अपने 300वें अनुबंध पर हस्ताक्षर करके एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। यह ऐतिहासिक अनुबंध उन्नत गैलियम नाइट्राइड सेमीकंडक्टर्स के डिजाइन और विकास पर केंद्रित है, जो रडार और इलेक्ट्रॉनिक्स वारफेयर जैमर सहित रक्षा अनुप्रयोगों में अगली पीढ़ी के वायरलेस ट्रांसमीटरों के लिए एक महत्वपूर्ण तत्व है।
पहल का उद्देश्य
वर्तमान में, प्रौद्योगिकी की संवेदनशीलता और अत्याधुनिक प्रकृति के कारण अधिकांश गैलियम नाइट्राइड (GaN) घटकों का आयात किया जाता है, कई देश इसके निर्यात को नियंत्रित और प्रतिबंधित करते हैं। नए अनुबंध का उद्देश्य पूरी तरह से स्वदेशी GaN तकनीक का उपयोग करके भारत के भीतर रक्षा के लिए GaN घटकों को डिजाइन, विकसित और निर्मित करके इस आयात निर्भरता को तोड़ना है। इस पहल से स्वदेशी डिजाइन और विकास क्षमताओं को काफी बढ़ावा मिलने की उम्मीद है, जिससे संभावित निर्यात सहित रक्षा क्षेत्र में पर्याप्त वृद्धि के रास्ते खुलेंगे।
महत्वपूर्ण उपलब्धि और समयरेखा
300वें अनुबंध पर अतिरिक्त सचिव (रक्षा उद्योग उत्पादन) एवं आर. मेसर्स एग्निट सेमीकंडक्टर्स प्राइवेट लिमिटेड के साथ सीईओ/डीआईओ टी. नटराजन ने हस्ताक्षर किये। iDEX अपने 200वें अनुबंध पर हस्ताक्षर करने के नौ महीने के भीतर इस मील के पत्थर तक पहुंच गया, जो 15 फरवरी, 2023 को स्प्रिंट पहल के तहत शुरू की गई भारतीय नौसेना प्राइम चुनौती का हिस्सा था। 150वें अनुबंध पर दिसंबर 2022 में हस्ताक्षर किए गए थे।
iDEX
2018 में प्रधान मंत्री द्वारा लॉन्च किए गए iDEX का उद्देश्य रक्षा क्षेत्र में सह-निर्माण और सह-विकास के लिए एक मंच प्रदान करना, स्टार्टअप्स को शामिल करना और देश में रक्षा और एयरोस्पेस सेटअप के विकास को बढ़ावा देना है। रक्षा उत्पादन विभाग के तहत रक्षा नवाचार संगठन (DIO) द्वारा कार्यान्वित, iDEX तेजी से रक्षा पारिस्थितिकी तंत्र में एक गेम चेंजर के रूप में उभरा है।
Categories: राष्ट्रीय करेंट अफेयर्स
Tags:DIO , iDEX , Innovations for Defence Excellence