गोलमेज़ सम्मेलन
भारत में साइमन कमीशन ने पूरे भारत में असंतोष को प्रेरित किया। इसने भारत में एक हिंसक प्रतिरोध का सामना किया और बाद में ब्रिटिश सरकार ने गोलमेज़ सम्मेलनों को आयोजित किया ताकि भारतीयों की मांगों और शिकायतों को सीधे ध्यान में रखा जा सके। भारत में स्वराज या स्वशासन की मांगें लगातार बढ़ती रही।