Trans-Himalayan Multi-Dimensional Connectivity Network क्या है?
चीन और नेपाल ने हाल ही में “ट्रांस-हिमालयन मल्टी-डायमेंशनल कनेक्टिविटी नेटवर्क” (Trans-Himalayan Multi-Dimensional Connectivity Network) के निर्माण के लिए अपनी सहमति दी है। चीन 2022 में कई परियोजनाओं को शुरू करने के लिए नेपाल को 118 मिलियन अमरीकी डालर की अनुदान सहायता भी देगा।
चीन-नेपाल समझौते की मुख्य बातें
- इस समझौते के तहत, चीन द्वारा चीन-नेपाल सीमा पार रेलवे के व्यवहार्यता अध्ययन का वित्तपोषण किया जायेंगे।
- चीन के विशेषज्ञ 2022 में सर्वेक्षण करने नेपाल जाएंगे।
- चीन के बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव के तहत ट्रांस-हिमालयन मल्टी-डायमेंशनल कनेक्टिविटी नेटवर्क का निर्माण किया जाएगा। इसके तहत रेलवे और संचार नेटवर्क का निर्माण किया जाएगा।
ट्रांस-हिमालयन मल्टी-डायमेंशनल कनेक्टिविटी नेटवर्क
इस नेटवर्क को “ट्रांस-हिमालयन नेटवर्क” (Trans-Himalayan Network) भी कहा जाता है। यह बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव के तहत नेपाल और चीन के बीच एक आर्थिक गलियारा है। इस नेटवर्क में कई परिवहन बुनियादी ढांचा परियोजनाएं शामिल हैं, ऐसी ही एक परियोजना “चीन-नेपाल रेलवे” है। चीन-नेपाल रेल परियोजना व्यवहार्यता अध्ययन के चरण में है। अन्य परियोजनाओं में शामिल हैं;
- सुरंग सड़क का निर्माण
- अरानिको राजमार्ग का अपग्रेडेशन। यह कोडरी गांव की सीमा और झांगमु के चीनी सीमा पार पर समाप्त होता है।
- सीमा बंदरगाह की बहाली।
इस नेटवर्क में कोशी इकोनॉमिक कॉरिडोर, करनाली इकोनॉमिक कॉरिडोर और गंडकी इकोनॉमिक कॉरिडोर जैसे नेपाली परिवहन बुनियादी ढांचे में आंतरिक सुधार भी शामिल हैं।
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